साइबरनाइफ रेडियोसर्जरी के क्षेत्र में आर्टेमिस हॉस्पिटल ने बनाए कीर्तिमान, 1500 से ज्यादा सफल सर्जरी
एडवांस ट्रीटमेंट देने वालों अस्पताल में अग्रणी नाम आर्टेमिस हॉस्पिटल ने एक और कीर्तिमान स्थापित किया है. अस्पताल ने मेडिकल साइंस में एक नया माइलस्टोन सेट करते हुए 1500 से ज्यादा साइबरनाइफ रेडियोसर्जरी पूरी की हैं।
ये उपलब्धि कैंसरस और नॉन-कैंसरस मामलों में एडवांस व नॉन इनवेसिव इलाज मुहैया कराने के अस्पताल के समर्पण को दिखाती है. साइबरनाइफ सर्जरी के मामले में पूरे भारत में आर्टेमिस की पोजीशन काफी ऊपर मानी जाती है, खासकर दिमाग से जुड़े मामलों की सर्जरी में अस्पताल का नाम काफी आगे रहता है।
आर्टेमिस हॉस्पिटल गुरुग्राम में न्यूरोसर्जरी और साइबरनाइफ के डायरेक्टर डॉक्टर आदित्य गुप्ता ने बताया कि कैंसर और नॉन-कैंसरस ट्यूमर के इलाज में साइबरनाइफ रेडियोसर्जरी के कई लाभ हैं. डॉक्टर आदित्य ने कहा, ''साइबरनाइफ रेडियोसर्जरी मेडिकल इनोवेशन का एक नायाब तोहफा है, जिसने उन मरीजों को भी उम्मीद दी है जिनका इलाज चुनौतीपूर्ण समझा जाता था. परंपरागत तरीकों की बजाय, साइबरनाइफ थेरेपी एक नॉन-इनवेसिव, दर्द रहित प्रक्रिया है, जिससे सर्जरी के दौरान होने वाले अन्य खतरे भी कम हो जाते हैं।
इसमें रोबोट का इस्तेमाल किया जाता है, रियल टाइम इमेज मिलती है, जिसकी मदद से बहुत ही सटीक तरीके से ट्यूमर पर रेडिएशन टारगेट किया जाता है. इससे ट्यूमर के आसपास के स्वस्थ टिशू को नुकसान नहीं पहुंचता है और साइड इफेक्ट भी कम हो जाते हैं.'' साइबरनाइफ टेक्नोलॉजी के कई फायदे होने के बावजूद भारत में इसका इस्तेमाल काफी कम है. जबकि ट्यूमर के साइज और लोकेशन के हिसाब मरीज इस विकल्प को चुन सकते हैं और बेहतर रिजल्ट पा सकते हैं।
आर्टेमिस अस्पताल कैंसर ट्यूमर से लेकर कम खतरे वाली स्थितियों तक के मामलों में साइबरनाइफ के जरिए इलाज देने में अग्रणी रहा है. आर्टेमिस अस्पताल में एडवांस मेथड्स के साथ मरीज के लिए पर्सनलाइज्ड अप्रोच अपनाकर ये सुनिश्चित किया जाता है कि साइबरनाइफ थेरेपी के जरिए उन्हें पॉजिटिव रिजल्ट मिले।
डॉक्टर आदित्य गुप्ता ने इस क्रांतिकारी ट्रीटमेंट मेथड के बारे जानकारी देते हुए आगे बताया, ''साइबरनाइफ रेडियोसर्जरी ने कैंसर के इलाज का पूरा परिदृश्य बदल दिया है और अब जटिल परिस्थितियों से गुजर रहे मरीजों को भी उम्मीद मिली है. आर्टेमिस अस्पताल में इस टेक्नोलॉजी का पूरे तरीके से इस्तेमाल किया जाता है, यहां मरीजों को 100 फीसदी सुरक्षित, दर्द रहित और नॉन इनवेसिव ट्रीटमेंट विकल्प दिया जाता है. 1500 से ज्यादा सफल साइबरनाइफ सर्जरी इनोवेशन के साथ मरीज को इलाज देने के हमारे कमिटमेंट का प्रमाण है.'' आर्टेमिस अस्पताल में ब्रेन के मेटास्टैटिक कैंसर का इलाज सबसे उल्लेखनीय प्रयोग में रहा है. जिन मरीजों को होल ब्रेन रेडिएशन थेरेपी (डब्ल्यूबीआरटी) के रिस्क और साइड इफेक्ट का खतरा रहता है, वो साइबरनाइफ रेडिएशन थेरेपी से इलाज पा सकते हैं।
जिस कंडीशन में डब्ल्यूबीआरटी संभव नहीं होती है, वैसे में बार-बार घावों के इलाज के लिए ये थेरेपी काफी फायदेमंद रहती है. साइबरनाइफ रेडियोसर्जरी में आर्टेमिस अस्पताल ने जो मील का पत्थर स्थापित किया है वो सिर्फ एक संख्याभर नहीं है, उससे कहीं ज्यादा है. यह अलग-अलग स्थितियों के इलाज में एक आदर्श बदलाव का प्रतिनिधित्व करता है, जो भारत और उसके बाहर एडवांस केयर की उम्मीद देने में अस्पताल की भूमिका की पुष्टि करता है.