वक्त मुश्किल में है पूर्व PM लिज ट्रस से कुछ गलतियां हुई हैं अब हम इन्हें सुधारेंगे - ऋषि सुनक
42 साल के भारतवंशी ऋषि सुनक ब्रिटेन के नए प्रधानमंत्री बन गए। सुनक ने बकिंघम पैलेस पहुंचकर किंग चार्ल्स से मुलाकात की। किंग ने उन्हें अपॉइंटमेंट लेटर सौंपा और नई सरकार बनाने को कहा। किंग और सुनक की मुलाकात पैलेस के रूम नंबर 1844 में हुई। परंपरा के मुताबिक, सुनक पर्सनल कार से बकिंघम पैलेस पहुंचे थे।
बकिंघम पैलेस से ऋषि प्राइम मिनिस्टर की ऑफिशियल कार से ऑफिशियल रेसिडेंस 10 डाउनिंग स्ट्रीट पहुंचे। यहां उन्होंने बतौर प्रधानमंत्री देश के नाम पहला संबोधन दिया। इस दौरान उन्होंने कहा- देश इस वक्त मुश्किल में है। पूर्व PM लिज ट्रस से कुछ गलतियां हुई हैं। अब हम इन्हें सुधारेंगे।
सुनक ने कहा- मैं अभी किंग से मिलकर आया हूं। उन्होंने मुझे नई सरकार बनाने को कहा है। आप जानते हैं कि इस वक्त हमारी इकोनॉमी मुश्किल दौर में है। कोविड की वजह से पहले ही दिक्कत थी। पुतिन ने यूक्रेन पर हमला करके हालात और खराब कर दिए हैं। पूर्व प्रधानमंत्री लिज ट्रस हालात सुधारना चाहती थीं, उन्होंने बिना थके काम किया, लेकिन गलतियां हुईं। अब हम इन्हें सुधारेंगे।
सुनक ने आगे कहा- मैं इस देश को फिर एकजुट करूंगा। ये मैं सिर्फ कह नहीं रहा हूं, बल्कि करके भी दिखाऊंगा। दिन-रात आपके लिए काम करूंगा। उन्होंने आगे कहा- 2019 में कंजर्वेटिव पार्टी को समर्थन मिला था। यह किसी एक शख्स के लिए नहीं था। हेल्थ, बॉर्डर प्रोटेक्शन और आर्म्ड फोर्सेस के लिए काम किया जाएगा।
आज हमारे सामने कई चैलेंज हैं। बतौर चांसलर मैंने जो काम किए, वह जारी रखूंगा। देश के लोगों की बेहतरी को सियासत से ऊपर रखा जाना चाहिए। आपके खोए हुए कॉन्फिडेंस को लौटाया जाएगा। रास्ता मुश्किल जरूर है, लेकिन हम फासला तय करेंगे।
किंग चार्ल्स और सुनक के बीच 31 मिनट बातचीत हुई। इस दौरान सुनक की पत्नी अक्षता भी साथ थीं। पूर्व प्रधानमंत्री लिज ट्रस से क्वीन एलिजाबेथ ने महज 6 मिनट मुलाकात की थी। बकिंघम पैलेस से ऋषि प्राइम मिनिस्टर की ऑफिशियल कार से ऑफिशियल रेसिडेंस 10 डाउनिंग स्ट्रीट पहुंचेंगे। इसके कुछ ही देर बाद वे बतौर प्रधानमंत्री देश के नाम पहला संबोधन देंगे।
इसके पहले, पूर्व प्रधानमंत्री लिज ट्रस बकिंघम पैलेस पहुंची और किंग चार्ल्स से मिलकर अपना इस्तीफा उन्हें सौंप दिया। बकिंघम पैलेस पहुंचने से पहले ट्रस ने भारतीय समय के अनुसार दोपहर 1:30 बजे कैबिनेट मंत्रियों के साथ बैठक की। उन्होंने PM हाउस से देश को प्रधानमंत्री के तौर पर आखिरी बार संबोधित भी किया। इस दौरान उन्होंने कहा- हमारी सरकार ने सियासी संकट के बीच लोगों की मदद के लिए तुरंत एक्शन लिया।
ऋषि सुनक ब्रिटेन के पहले भारतवंशी और गैर श्वेत प्रधानमंत्री हैं। सुनक के ब्रिटेन का प्रधानमंत्री बनने के साथ ही सोशल मीडिया पर बॉलीवुड मूवी अमर अकबर एंथोनी का हैश टैग भी ट्रेंड करने लगा है। दरअसल, सुनक हिंदू हैं, ब्रिटेन के मेयर सादिक खान मुस्लिम हैं और देश के राजा चार्ल्स-III क्रिश्चियन धर्म को मानते हैं। ऐसे में लोग तीनों को बॉलीवुड मूवी के किरदारों से रिलेट कर रहे हैं।
ऋषि भारतीय सॉफ्टवेयर कंपनी इंफोसिस के को-फाउंडर नारायण मूर्ति के दामाद हैं। उनके प्रधानमंत्री बनने पर मूर्ति ने कहा- ऋषि को बधाई। हमें उन पर गर्व है और हम उनकी सफलता की कामना करते हैं। हमें विश्वास है कि वो ब्रिटेन के लोगों के लिए ईमानदारी से काम करेंगे।
प्रधानमंत्री पद संभालने के बाद सुनक के सामने कई चुनौतियां होंगी। सबसे मुश्किल चुनौती ब्रिटेन की अर्थव्यवस्था को सुधारना होगा। ‘द गार्डियन’ के मुताबिक मीटिंग में सुनक ने पार्टी सांसदों के साथ हुई प्राईवेट मीटिंग के बाद कहा- हमारे सामने वो सब समस्याएं हैं जो पहले से थीं और अब आर्थिक संकट भी है। हम साथ मिलकर इस संकट से बाहर निकलेंगे। हमें हर मोर्चे पर एकजुट रहना होगा। मैं कंजर्वेटिव पार्टी से प्यार करता हूं, उसकी सेवा करूंगा। देश को कुछ वापस दे पाना मेरे जीवन का सबसे बड़ा सम्मान है। मैं वादा करता हूं कि मैं पूरी ईमानदारी से काम करूंगा।
- ऋषि सुनक के पेरेंट्स पंजाब के रहने वाले थे, जो विदेश में जाकर बस गए।
- सुनक का जन्म ब्रिटेन के हैंपशायर में हुआ था। ऋषि ने अमेरिका की स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी से MBA किया है।
- सुनक ने ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी से राजनीति, दर्शन और अर्थशास्त्र की पढ़ाई की।
- राजनीति में आने से पहले ऋषि ने इन्वेस्टमेंट बैंक गोल्डमैन सैश और हेज फंड में काम किया। इसके बाद उन्होंने इन्वेस्टमेंट फर्म की भी स्थापना की।
- उनकी मां एक फार्मासिस्ट और राष्ट्रीय स्वास्थ्य सेवा (MHS) में कार्यरत हैं। सुनक के पिता ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय और स्टैनफोर्ड विश्वविद्यालय से ग्रैजुएट हैं।
अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन ने भारतीय मूल के ऋषि सुनक के ब्रिटेन का प्रधानमंत्री चुने जाने को अद्भुत बताया। उन्होंने कहा- सुनक का ब्रिटिश PM बनना बहुत ही आश्चर्यजनक और मील का पत्थर है। बाइडेन ने ये बात 24 अक्टूबर को व्हाइट हाउस में आयोजित दिवाली समारोह के दौरान कही।
सुनक की जीत का एक बड़ा कारण उनकी बैंकर की छवि है। बतौर PM ट्रस के विफल रहने का सबसे बड़ा कारण आर्थिक मोर्चे पर विफल रहना था। ब्रिटेन में महंगाई चुनाव का अहम मुद्दा रहा। ब्रिटेन में आर्थिक अस्थिरता भी रही जिसके बाद जॉनसन सरकार में वित्त मंत्री रह चुके सुनक इकोनॉमिक बेल आउट प्लान लाए थे, इसे मिडिल क्लास ने खासा सराहा था और लोगों के बीच उनकी लोकप्रियता बढ़ गई।
सुनक को चुनौती देने वाली पेनी मॉरडॉन्ट ने सोमवार यानी 24 अक्टूबर शाम करीब 6.30 बजे (भारतीय समय के अनुसार) अपना नाम वापस ले लिया था। इसके पहले पूर्व प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने भी नाम वापस लिया था। सुनक को करीब 200 सांसदों का समर्थन मिला। पेनी के पास यह आंकड़ा 26 ही रहा। सुनक की जीत के बाद पेनी मॉरडॉन्ट पार्टी सांसदों से मिलीं। कहा- मेरी फिक्र मत कीजिए। मैं बिल्कुल ठीक हूं। नए प्रधानमंत्री को पूरे समर्थन का वादा करती हूं।
ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री डेविड कैमरन ने सुनक को बधाई देते हुए कहा- मैंने 10 साल पहले ही भविष्यवाणी कर दी थी कि एक दिन भारतीय मूल का कोई व्यक्ति ब्रिटेन का प्रधानमंत्री बनेगा। आज मेरी बात सच साबित हो गई है।