अशोक गहलोत नहीं लड़ेंगे कांग्रेस अध्यक्ष का चुनाव, माफी मांगी सोनिया गांधी से
सोशल मीडिया पर दावा किया जा रहा है कि सोनिया गांधी से मिलने पहुंचे अशोक गहलोत अपने साथ एक खत ले गए थे। उसमें लिखा था कि मैंने कांग्रेस अध्यक्ष से लंबी बात की। मैं एक वफादार सैनिक के तौर पर 50 साल से कांग्रेस में हूं। सीएलपी की बैठक में जो कुछ भी हुआ, उसने मुझे झकझोर कर रख दिया है। मैंने सोनिया जी से माफी मांगी है। मैं आहत हूं।
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की सोनिया गांधी के साथ बैठक समाप्त हो गई है। बैठक के बाद उन्होंने एलान किया कि वे कांग्रेस अध्यक्ष पद का चुनाव नहीं लड़ेंगे। उन्होंने कहा कि वे आगे मुख्यमंत्री रहेंगे कि नहीं यह नहीं पता। उन्होंने कहा कि बीत दिन जो भी हुआ उसके लिए मैंने सोनिया जी से माफी मांग ली है। उन्होंने कहा कि बीते 50 साल में कांग्रेस पार्टी ने इंदिरा गांधी जी और राजीव जी के बाद सोनिया जी के समय से मैंने वफादार सिपाही के तौर पर काम किया। मुझे हमेशा बड़ी जिम्मेदारी दी गई, चाहे प्रदेशाध्यक्ष हो या केंद्रीय मंत्री हो या सोनिया जी के आशीर्वाद से तीसरी बार मुख्यमंत्री बना हूं। उसके बावजूद जो घटना दो दिन पहले हुई, उस घटना ने सबको हिलाकर रख दिया। मैंने सोनिाय जी से भी सॉरी कहा है। क्योंकि पवित्रता मारी गई है। चाहे चुनाव हो या मुख्यमंत्री का फैसला करना हो। हमारा नियम है कि हम एक लाइन का प्रस्ताव रखते हैं।
कांग्रेस नेता सचिन पायलट भी जल्द ही सोनिया गांधी से मुलाकात कर सकते हैं। हालांकि, फिलहाल उन्होंने पूरी तरह से चुप्पी साधी हुई है।
कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने आज पार्टी सांसद शशि थरूर से मुलाकात की। इस दौरान दोनों से गले लगे। इस मौके पर थरूर ने कहा कि मैं कांग्रेस अध्यक्ष पद के लिए उनकी उम्मीदवारी का स्वागत करता हूं। हम दोनों इस बात पर सहमत थे कि हमारी लड़ाई प्रतिद्वंद्वी नहीं है, बल्कि सहयोगियों के बीच एक दोस्ताना मुकाबला है। हम केवल यह चाहते हैं कि जो भी जीतेगा, कांग्रेस जीतेगी!"